#MeToo Movement पर संगीतकार व गायक एआर रहमान (AR Rahman) ने अपनी प्रतिक्रिया दी है। एआर रहमान ने ट्विट किया है कि इस अभियान के कारण हमारे बॉलीवुड की सफाई हो रही है। साहसी महिलाएं सामने आ कर इनके चेहरे को उजागर किया है। इस अभियान के जरिए सिनेमा को साफ-सुथरा किया जा सकता है। इसके साथ ही महिलाओं के लिए सुरक्षित माहौल बनाया जा सकता है। लेकिन एआर रहमान ने यह भी लिखा है कि सोशल मीडिया पर जिस तरह फैसले सुनाए जा रहे हैं। इसलिए हमें सावधान रहने की जरूरत है।
जानकारी के मुताबिक, एआर रहमान ने लिखा है, ‘मैं अभियान देख रहा हूं। कुछ पीड़िता और आरोपियों के नाम ने मुझे चौंका दिया है। मुझे तो अच्छा लग रहा है क्योंकि इससे महिलाओं के सुरक्षित माहौल तैयार होगा। सभी पीड़िताओं ने आगे आकर साहस दिखाया है। ये सब तो ठीक है लेकिन हमें इंटरनेट जस्टिस से सावधान रहने की जरूरत है।’ लंबे समय के बाद एआर रहमान ने मी यू अभियान को लेकर अपनी राय रखी है। इससे पहले अमिताभ बच्चन, ऐश्वर्या बच्चन, अक्षय कुमार, ट्विंकल खन्ना, राधिका आप्टे आदि ने भी अपनी राय जाहिर की है।
— A.R.Rahman (@arrahman) October 22, 2018
बिग बी की राय
अमिताभ बच्चन ने कहा था, ‘किसी भी महिला के साथ किसी भी प्रकार का दुर्व्यवहार, अपमान नहीं होना चाहिए। खासकर ऑफिस या कार्यस्थल पर। ऐसे कृत्यों को तुरंत संबंधित अधिकारियों की जानकारी में लाना चाहिए। लिखित शिकायत दर्ज करने या कानून का सहारा लेना चाहिए। साथ ही साथ शोषण के खिलाफ त्वरित और सटीक रास्ते अपनानें चाहिए। अनुशासन, जागरूक नागरिक और नैतिकता प्रारंभिक स्तर पर अपनाया जाना चाहिए।’ आगे उन्होंने कहा, ‘महिला और हमारे समाज का कमजोर वर्ग सबसे असहाय है। उनकी देखभाल विशेष सुरक्षात्मक ढंग से होनी चाहिए। हमारे देश में ज्यादातर व्यवसायों में महिलाओं के प्रतिनिधित्व देखने को मिल रहे हैं। यह सबसे ज्यादा उत्साहजनक है। यह उनके स्वागत के योग्य है। लेकिन हम उनकी सुरक्षा करने में सक्षम नहीं हैं।’
T 2959 – An interview on the eve of birthday : It is that special day again…special for us, that is. Why (cont) https://t.co/8n1ERaBtXw
— Amitabh Bachchan (@SrBachchan) October 11, 2018
सिनेमा अच्छा इंसान नहीं बनाता
मशहूर गीतकार गुलजार ने कहा था, ‘सिनेमा समाज का प्रतिबिंब है। यदि आप ऐसा सोच रहे हैं कि रेप, यौन शोषण जैसी घटनाएं केवल सिनेमा में होती हैं तो ऐसा नहीं है। अभी तो समाज में देखने को मिल रहा है कि 4 साल और 8 साल तक की बच्चियों के साथ रेप हो रहा है। थैंक गॉड की सिनेमा समाज को ऐसा आईना नहीं दिखाया।’आगे उन्होंने कहा, ‘लेकिन यहां गौर करें, सिनेमा जो है आपके जिंदगी के हर हिस्से से प्रभावित होता है। अब ऐसा मत सोचिए कि सिनेमा आपको नैतिकता और मौलिक सिद्धांत सिखाएगा। अब आपको लगता है कि सिनेमा कोई बाइबिल है और यह आपको अच्छा इंसान बनाएगा। तो फिर आप पूरी तरह गलत सोच रहे हैं।’ गुलजार साहब के कड़वी प्रतिक्रिया के बाद लोगों का रिएक्शन भी थोड़ा बदला-बदला देखने को मिल रहा है।
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