दिवाली पर नहीं दिखे इरफान खान, तो क्या होली तक करना पड़ेगा इंतजार? जानिए कारण

बॉलीवुड स्टार इरफान खान दिवाली पर नहीं दिखें। न्यूयॉर्क के डॉक्टरों की ओर से शायद उनको मार्च तक क्लीन चीट मिल सकती है। इसके बाद वो लौट सकते हैं।

बॉलीवुड स्टार इरफान खान के दिवाली पर लौटने की खबर ने खुश कर दिया था। इरफान के फैंस बेसब्री से इंतजार कर रहे थे। लेकिन इरफान खान की ओर से ना तो कोई संदेश आया ना शुभकामनाएं। हालांकि इनके बाद कैंसर का इलाज कराने गईं सोनाली बेंद्रे ने न्यूयॉर्क में ही पति और बेटे के साथ दिवाली मनाई। सोनाली को देखकर फैंस बेहद खुश दिखे। अभी तक इरफान खान के लिए फैंस इंतजार लगाए बैठे हैं।

दरअसल, कई दिन पहले ही इरफान खान के प्रवक्ता की ओर से कहा गया था कि वे परिवार के साथ दिवाली पर लौट आएंगे। इसके साथ ही वह नासिक के फार्म हाउस पर दिवाली भी मनाने वाले थे पर कहीं से उनकी कोई खबर नहीं आई। मार्च तक डॉक्टर की ओर से क्लीन चीट मिलने की संभावना जताई जा रही है।

सोनाली बेंद्रे भी कैंसर का इलाज करा रही हैं। पर दिवाली के दिन उन्होंने अपने परिवार के साथ दीप जलाते हुए तस्वीर शेयर की। इससे उनके फैंस के दिल को सकून मिला। इरफान खान के आने की संभावना थी लेकिन दिवाली के अगले दिन भी जब कोई संदेश नहीं मिला तो ऐसा लग रहा है कि वे भारत नहीं आए हैं। फिर भी फैंस की ओर से उनके लिए दुआ-कामना और शुभकामनाएं मिल रही हैं। हालांकि दिवाली के पहले ही उनके परिवार के दोस्त की ओर से जानकारी आई थी। जिससे अंदेशा लग रहा था कि वे नहीं आएंगे। ऐसा लग रहा है कि वह होली तक ही आएंगे।

मार्च तक क्लीन चीट
हाल ही में खबर मिली थी कि दिवाली से पहले वे कैंसर का इलाज करा रहे थे। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक डॉक्टर से मिलने के बाद पता चला था कि वे मार्च तक और बेहतर हो जाएंगे। दिवाली से इरफान खान कैंसर का इलाज कराने की खबर ने फैंस को दुखी कर दिया था। उसी वक्त इरफान खान के भारत लौटने की संभावना 50-50 दिख रही थी। वैसे देखना है कि अब इरफान खान कब लौटते हैं। एक बात तो साफ है कि डॉक्टर की ओर से अब तक क्लीन चीट नहीं मिल पाई है। यदि इरफान खान भारत आते हैं तो ‘हिंदी मीडियम-2’ और ‘सपना दीदी’ फिल्म के लिए काम कर सकते हैं। इस बात की जानकारी फिल्म निर्माता व निर्देशक विशाल भारद्वाज ने एक इंटरव्यू में दी थी।

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रवि गुप्ता :पत्रकार, परिंदा ही तो है. जैसे मैं जन्मजात बिहारी, लेकिन घाट-घाट ठिकाने बनाते रहता हूं. साहित्य-मनोरंजन के सागर में गोते लगाना, खबर लिखना दिली तमन्ना है जो अब मेरी रोजी रोटी है. राजनीति तो रग-रग में है.