जब प्रियंका चोपड़ा को कर दिया था फिल्मों से बाहर, आंसू बहाए और खुद को समेट कर बढ़ीं आगे!

जब कंगना रनौत(Kangana Ranaut) ने कॉफ़ी विद करण पर इसके बारे में बात की थी, तो इस विषय के बारे में बहुत सारी बातचीत हुई और यही नहीं जब बॉलीवुड की देसी गर्ल प्रियंका चोपड़ा (Priyanka Chopra) ने इस बारे में बात की तो उनके पास इससे जुड़े कई वैलिड पॉइंट्स भी थे।

नेपोटिज्म हमेशा से ही बॉलीवुड में चर्चा का विषय रहा है और इस बात से कोई इंकार नहीं करता है कि यह मौजूद है! वहीँ इस बारे में बहुत कम लोग हैं जो खुलकर बात करते है। हालाँकि, जब कंगना रनौत(Kangana Ranaut) ने कॉफ़ी विद करण पर इसके बारे में बात की थी, तो इस विषय के बारे में बहुत सारी बातचीत हुई और यही नहीं जब बॉलीवुड की देसी गर्ल प्रियंका चोपड़ा (Priyanka Chopra) ने इस बारे में बात की तो उनके पास इससे जुड़े कई वैलिड पॉइंट्स भी थे।

प्रियंका ने इस बारे में बात करते हुए कहा है कि कैसे सभी प्रकार के भाई-भतीजावाद बॉलीवुड में मौजूद हैं और एक परिवार में पैदा होने में कुछ भी गलत नहीं है। कोई भी कम नहीं है, उन्होंने आगे कहा कि बाहरी लोगों के पास कुछ भी सामने से चलकर नहीं आया लेकिन वहीँ दूसरी तरफ स्टार किड्स पर परिवार का नाम रखने का दबाव होता है और हर अभिनेता की अपनी व्यक्तिगत यात्रा है।

उन्होंने अपनी यात्रा के बारे में भी बात की और कहा कि वह इसमें बहुत कुछ झेल चुकी है और उन्हें फिल्मों से बाहर कर दिया गया था क्योंकि किसी और की सिफारिश की गई थी, इसके बाद वो खूब रोईं लेकिन अपने आपको समेट कर वो आगे बढ़ गई। कुछ सच्ची पंक्तियों को बोलते हुए, वह आगे कहती हैं कि जो लोग सफल कहानियों के लिए होते हैं, वे सभी बाधाओं के बावजूद अपने आपको कुछ बना ही लेते हैं।

मिड डे के साथ इसी इंटरव्यू में उन्होंने असफलता के बारे में भी कहा और कहा कि भले ही उन्हें असफल होने का भय न हो, लेकिन वह इसे पसंद नहीं करती है और ऐसा होने पर परेशान भी होती हैं। उन्होंने बताया कि कैसे वह एक मैराथन धावक के रूप में मशहूर हस्तियों के जीवन को देखती हैं और जहां तक ​​जिम्मेदारी की बात है, वो हर चीज़ का पूरा ध्यान रखती हैं। उन्होंने यह भी बताया कि कैसे 300 लोगों को भुगतान नहीं मिलता है अगर एक सेलिब्रिटी के बीमार पड़ने पर शूट रद्द कर दिया जाता है। उन्होंने कहा कि आपको हर किसी की नौकरी का सम्मान करना होता है और जिस लक्ष्य को हासिल करने के लिए आपने खुद को प्रशिक्षित किया है और वह जानती है कि उन्हें क्या लगता है क्योंकि दुनिया में कोई भी मुफ्त में खाना नहीं खाता है।

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Shikha Sharma :शिखा, इसका मतलब होता है पहाड़ की चोटी लेकिन, अपने काम में मैं चोटी से लेकर एड़ी तक ज़ोर लगा देती हूं! बॉलीवुड फ़िल्में और गानें मेरी रगों में हैं! किशोर कुमार से लेकर बादशाह तक, म्युज़िक मेरी ज़िन्दगी है!