Union Budget 2020: केंद्रीय बजट 2020 शनिवार 1 फरवरी 2020 को पेश किया जाएगा। इस बार आम जनता की निगाह सिर्फ बजट पर ही है कि इस साल वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण (Nirmala Sitharaman) बजट में क्या पेश करने वाली हैं? इस साल देश की अर्थव्यवस्था जीडीपी में गिरावट, बढ़ती इन्फ्लेशन और कम टैक्स आय जैसे कई मुद्दों का सामना कर रही है। आम जनता के लिए वित्त मंत्री किस तरह से राहत दे सकती हैं।
जनता को प्याज के आंसू से बचाने के लिए मोदी सरकार एक नई योजना लाने की तैयारी में है। खाने-पीने की चीजों से जुड़ी महंगाई को काबू में रखने के लिए बजट में नया प्लान आ सकता है। बजट को लेकर उम्मीद की जा रही है कि सरकार प्याज, आलू और टमाटर को पीडीएस के तहत लाने की योजना बना रही है।
इस बार बजट को लेकर उद्योग जगत की मांग है कि आयात शुल्क में 20 प्रतिशत की राहत दी जाए। इसी के साथ ही उद्योग को बढ़ावा देने के लिए इस क्षेत्र में जीएसटी की दोबारा समीक्षा कर दरें घटाने के लिए भी मांग की जा रही है। देश में बढ़ते फल और सब्जियों के दाम के चलते उद्योग की मांग है कि सरकार फलों के पल्प और उस से जुड़ी दूसरी अन्य चीजों पर जीएसटी शून्य प्रतिशत या फिर कम से कम किया जाए।
वर्तमान समय में फल-सब्जियों के कंसन्ट्रेट के लिए बड़ी कंपनियां आयात पर ही निर्भर रहती हैं। आयात के चलते इनका माल घरेलू छोटी कंपनियों के मुकाबले सस्ता हो जाता है। घरेलू खाद्य प्रसंस्करण उद्योग को मुश्किल उठानी पड़ती है। फिलहाल सेब लुगदी पर देश में 75 प्रतिशत और संतरे के पल्प पर 40 प्रतिशत आयात शुल्क लगता है। वहीं सेब कंसंट्रेट पर 50 प्रतिशत और संतरा कंसन्ट्रेट पर पर 35 प्रतिशत शुल्क लगता है। सूत्रों के अनुसार इन पर शुल्क डेढ़ से दोगुना तक बढ़ाया जा सकता है।