हर साल की तरह इस साल भी देश भर में गणेश चतुर्थी की तैयारियां जोरों पर हैं। इस बार गणेश चतुर्थी 2 सितंबर से मनाई जा रही है। भगवान गणेश की पूजा करने से घर में सुख-शांति बनी रहती है। हिंदू पंचांग के अनुसार भाद्रपद मास की शुक्ल पक्ष की चतुर्थी को श्री गणेश चतुर्थी के नाम से मनाया जाता है। हर साल इस त्योहार को महाराष्ट्र सहित देश के कई राज्यों में हर्षोल्लास के साथ मनाया जाता है। अब कोई त्यौहार हो और बॉलीवुड इससे अछूता रह जाए ऐसा कैसे ही सकता है| तो आइये आज गणेश चतुर्थी के अवसर पर देखते हैं बॉलीवुड के कुछ ऐसे गानें जिसे सुनने के बाद झूम उठेंगे आप-
देवा श्री गणेशा-
सुनो गणपति बप्पा मोरया-
मोरया मोरया मोरया –
संभु सुताया-
गजानन-
ग ग ग ग गणपति –
अगले बरस तू जल्दी आना-
देवा हो देवा
बता दें पूजा पाठ के लिए शुभ समय का बहुत ही महत्व होता है। इस समय के मुताबिक ही पूजा पाठ करने से मनोकामना पूर्णं होती है और पूजा को सिध्द माना जाता है। इसलिए इसका ध्यान रखना बहुत जरूरी है।
ऐसा माना जाता है कि गणपति जी का जन्म मध्यकाल में हुआ था। इसलिए उनकी स्थापना इसी काल में होनी चाहिए। भगवान गणेश का जन्म दोपहर में होने के कारण इनकी पूजा मुख्य रूप से दोपहर में होती है। चतुर्थी के दिन मध्याह्न 12 बजे का समय गणेश-पूजा के लिए उत्तम माना गया है।
बहुत से लोग घर में गणपति बैठाते हैं ऐसे में जब आप गणेश जी को लेकर घर आएं, उससे पहले पूरे घर को अच्छी तरह से साफ कर लें और पूजा की थाली तैयार कर लें| भगवान गणेश का स्वागत करने के लिए दरवाजे पर ही उनकी पहली आरती की जाती है| इस दौरान गणपति मंत्र उच्चारण करें और शुभ मुहूर्त में ही घर में उन्हें लाएं|
उनकी स्थापना के बाद घर के सभी सदस्य मिलकर भगवान गणेश की आरती करें| भगवान गणेश को पकवान बहुत पसंद है इसलिए विभिन्न पकवान से सुसज्जित भोजन की थाल चढ़ाएं| खासकर मोदक और लड्डू उन्हें अति प्रिय है, इसलिए गणपति को मोदक भी जरूर चढ़ाएं साथ में पंच मेवा रखें|
गणेश जी की स्थापना के समय ही गणेश जी के स्थान के उलटे हाथ की तरफ जल से भरा हुआ कलश चावल या गेहूं के ऊपर स्थापित कर देना चाहिए| इसके अलावा धूप व अगरबत्ती लगाना मत भूलिए| स्तापित कलश के मुख पर मौली बांधें एवं आमपत्र के साथ एक नारियल उसके उपर रखें| ध्यान रहे कि नारियल की जटाएं ऊपर की ओर ही रहे| घी एवं चंदन को ताम्बे के कलश में नहीं रखना चाहिए| वहीँ गणेश जी के स्थान के सीधे हाथ की तरफ घी का दीपक एवं दक्षिणावर्ती शंख रखना चाहिए|