दक्षिण भारत के प्रमुख त्योहार में से के थिरुवोणम यानि ओणम (Happy Onam 2019) भी है। श्रावण शुक्ल की त्रियोदशी तिथि को ओणम मनाया जाता है। केरल के महत्वपूर्ण त्योहारों में से एक ओणम भी है। फसलों की अच्छी बुआई हो उपज हो घर में खुशहाली आए इसलिए इस त्योहार को बड़ी धूमधाम से मनाया जाता है। 1 सितंबर से 13 सितंबर तक मनाए जाने वाले इस त्योहार में अब केवल दो ही दिन बचे हुए है। वहीं इस पूरे त्योहार में दो दिन बहुत खास माने जाते हैं जिस दिन महिलाएं खुद सजतीं हैं साथ ही अपने घरों को सजातीं हैं। इन दिन लोग घरों की साफ सफाई करते हैं और फूलों से घरों को सजाते हैं। इतना ही नहीं बल्कि राजा महाबली के स्वागत में प्रत्येक घर के बाहर सुन्दर फूलों से रंगोली बनाने का भी बड़ा महत्त्व है।
ओणम की शुरुआत इस बार 1 सिंतबर से हुई थी। जिसका समापन आने वाली इस 13 सितंबर को किया जाएगा। ओणम त्योहार के शुरू होने यानि पहले दिन और इसके 10वें दिन को थिरुओणम कहते हैं। जिसका उल्लेख शास्त्रों में भी किया गया है। उत्सव के आखिरी दो दिनों को काफी महत्वपूर्ण माना जाता है। कहा जाता है इस दिन भगवान राजा महाबली स्वंय चलकर अपनी प्रजा से मिलने के लिए आते हैं। वैदिक काल के मुताबिक राजा महाबली ने ओणम के दिन ही भगवान विष्णु से अपनी प्रजा से वर्ष में एक बार मिलने की अनुमति मांगी थी। तब से आज तक इस त्योहार को राजा महाबली के आगमन से जोड़कर मनाया जाता है।
मान्यताएं तो ऐसी भी हैं जब भगवान परशुराम ने सारी पृथ्वी को क्षत्रियों से जीत कर ब्राह्मणों को दान कर दिया, तब उनके पास अपने रहने के लिए कोई स्थान नहीं रहा। तब उन्होंने वरुण देवता की तपस्या की। वरुण देवता ने दर्शन दिए और कहा कि जहां तक तुम्हारा फरसा समुद्र में गिरेगा, वहीं तक समुद्र का जल सूखकर पृथ्वी बन जाएगी। वो पृथ्वी तुम्हारी होगी जिसका नाम परशु होगा। भगवान परशुराम ने वैसा ही किया और जो भूमि समुद्र से मिली, उसी को वर्तमान में केरल कहा जाता है।
ओणम के इस शुभ अवसर पर आप भी अपने करीबियों को ये शानदार मैसेज भेजकर उन्हें ओणम की शुभकामनाएं दें…
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