Solar Eclipse 2019: कल होगा साल का पहला सूर्य ग्रहण, जानिए इसका समय और किन देशों पर पड़ेगा असर

यह साल का ये पहला ग्रहण आशिंक सूर्य ग्रहण है। जब चंद्रमा (Moon) सूर्य को आंशिक रूप से ढक लेता है तो तब इस अवस्था को आंशिक सूर्य ग्रहण (Partial Solar Eclipse) कहते हैं। यह आंशिक सूर्य ग्रहण भारत में नजर ही नहीं आएगा जिसकी वजह से कोई सूतक नहीं लगेगा।

सूर्यग्रहण का एक डेमो पिक।

साल 2019 का पहला सूर्य ग्रहण (Surya Grahan 2019) 6 जनवरी को होगा। यह सूर्य ग्रहण रविवार को शाम 05:05 बजे से रात 09:18 मिनट तक रहेगा। यह एक आंशिक सूर्य ग्रहण (Partial Solar Eclipse) होगा और भारत में दिखाई नहीं देगा। हालांकि सूर्य ग्रहण को जापान, कोरिया, चीन और रूस जैसे देशों में देखा जा सकेगा।

आपको बता दें कि यह साल का ये पहला ग्रहण आशिंक सूर्य ग्रहण है। जब चंद्रमा (Moon) सूर्य को आंशिक रूप से ढक लेता है तो तब इस अवस्था को आंशिक सूर्य ग्रहण (Partial Solar Eclipse) कहते हैं। यह आंशिक सूर्य ग्रहण भारत में नजर ही नहीं आएगा जिसकी वजह से कोई सूतक नहीं लगेगा। आप बिना किसी रुकावट के पूजा-पाठ और शुभ काम कर सकेंगे।

साल 2019 में तीन सूर्य ग्रहण (Surya Grahan) और दो चंद्र ग्रहण (Lunar Eclipse 2019) होंगे जिनमें से सिर्फ दो ही भारत में दिखाई देंगे। इसके बाद 21 जनवरी को चंद्र ग्रहण (Chandra Grahan 2019) होगा जोकि भारत में दिखाई नहीं देगा। इसके बाद 2 जुलाई 2019, 16 जुलाई 2019, दिसंबर 2019 को भी सूर्य ग्रहण होगा।

 

इसलिए होता है सूर्य ग्रहण…

सूर्य ग्रहण तब होता है, जब सूर्य आंशिक या पूर्ण रुप से चन्द्रमा से ढक जाए। इस ग्रहण के दौरान चन्द्रमा पृथ्वी और सूर्य के बीच होता है। इससे पृथ्वी पर रहने वाले लोगों को सूर्य का ढका या छिपा हुआ हिस्सा नहीं दिखता है।

 

तीन तरह के सूर्य ग्रहण…

 

पूर्ण सूर्य ग्रहण (Full Solar Eclipse)
पूर्ण सूर्य ग्रहण उस समय होता है जब चन्द्रमा पूरी तरह से पृथ्वी को अपनी परछाई से ढक लेता है। जिसके चलते सूर्य की रोशनी पृथ्वी तक नहीं पहुंच पाती और पृथ्वी पर अंधेरे जैसी स्थिति हो जाती है।

 

आंशिक सूर्यग्रहण (Partial Solar Eclipse)
आंशिक सूर्यग्रहण में चन्द्रमा, सूर्य के केवल कुछ भाग को ही ढकता है। जिससे सूर्य का कुछ हिस्सों में ग्रहण लग जाता है जबकि कुछ हिस्सों में ग्रहण नहीं लगता। इसे आंशिक सूर्यग्रहण कहा जाता है। जो आने 6 जनवरी को लगेगा।

 

वलय सूर्यग्रहण (Elliptical Solar Eclipse)
इस प्रकार के ग्रहण के समय चन्द्रमा सूर्य को इस प्रकार से ढकता है, कि सूर्य का केवल मध्य भाग ही छाया क्षेत्र में आता है। सूर्य के बाहरी क्षेत्र में प्रकाश होने के कारण वह कंगन के तरह दिखता है। कंगन आकार में बने सूर्यग्रहण को ही वलय सूर्यग्रहण कहा जाता है।

 

देखिए यह वीडियो…

 

देखिए कुछ बेहतरीन तस्वीरें…

 

 

 

 

रमेश कुमार :जाकिर हुसैन कॉलेज (डीयू) से बीए (हॉनर्स) पॉलिटिकल साइंस में डिग्री लेने के बाद रामजस कॉलेज में दाखिला लिया और डिपार्टमेंट ऑफ पॉलिटकल साइंस में पढ़ाई की। इसके बाद आईआईएमसी दिल्ली।